Sunday, May 29, 2011

एक बिस्तर, दो पति

जवानी की चढ़ती उम्र में घर से भागी ममता ने न प्रेमी मांगीलाल से शादी की और न ही उसे कभी अपना पति समझा। उसने एक ओर प्रेमी जयप्रकाश से शारीरिक संबंध बनाए, लेकिन एक दिन शराब के नशे में उसने जयप्रकाश के साथ मिलकर मांगीलाल नृशंस हत्या कर दी।
मनोज राठौर
निशातपुरा स्थित पंचवटी फेस-3 निवासी कुंजीला साहू के मकान में ममता गिरी अपने कथित दूसरे पति जयप्रकाश अहिरवार उर्फ जेपी के साथ किराए से रहती थी। उसके पहले कथित पति मांगीलाल गिरी से 11 साल का बेटा शिवम और बेटी सपना थी, जो उसके साथ ही रहते थे। जयप्रकाश मूल रूप से इटारसी के सतलापुर गांव का रहने वाला था और 28 फरवरी 2011 से साहू के मकान में किराए से रह रहा था। इससे पहले वह ममता के साथ पंचवटी कॉलोनी में ही एक अन्य साहू के मकान में रहता था। वह ममता और उसके बच्चों का पालन-पोषण आॅटो चालक करता था।
गत 17 अप्रैल की रात जयप्रकाश और ममता मार्केट से मुर्गा व शराब लेकर घर आए। हालांकि, इस दौरान उनके घर पर उसक पहला पति मांगीलाल पुत्र पंचू गिरी (30) भी आ गया था। ममता ने दोनों पतियों के साथ शराब पी। मगर नशा कम लगने पर मांगीलाल करोंद चौराहे से एक ओर शराब की बोतल लेकर आ गया। इस बोतल ने तीनों को नशे में तर कर दिया था। खाना खाने के दौरान मांगीलाल व जयप्रकाश के बीच ममता को साथ रखने को लेकर झगड़ा हो गया। विवाद बढ़ने पर ममता ने जयप्रकाश का साथ देते हुए मांगीलाल को जमीन पर गिरा दिया और उसके दोनों हाथ पकड़ लिए। इसके बाद जयप्रकाश ने हसिए से मांगीलाल पर ताबड़-तोड़ बार किए। इससे भी उसका जी नहीं भराया, तो उसने हसिए से मांगीलाल का गला रेत दिया। वारदात को अंजाम देने के बाद जयप्रकाश आॅटो में ममता व उसके दोनों बच्चों को लेकर फरार हो गया। अगली सुबह कुंजीलाल कमरे के किराए के संबंध में जयप्रकाश के घर गए, तो कमरे का दृश्य देखकर उनके होश उड़ गए। उन्होंने तत्काल निशातपुरा थाने में सूचना दी कि उनके किराएदार जयप्रकाश के कमरे में एक व्यक्ति की लाश पड़ी है। इस पर तत्काल मौके पर थाना प्रभारी जीएल अहिरवाल सहित थाना स्टाफ पहुंचा। कॉलोनी के लोगों से श्री अहिरवाल को पता चला कि मामला अवैध संबंध का है। वहीं घटना के बाद से जयप्रकाश और उसकी पत्नी भी फरार थी।
यह है ममता की जवानी
ममता मूल रूप से राजगढ़, ग्राम भगौरा की रहने वाली है। वह दिखने में सुंदर और चंचल थी। उसने जवानी की दहलीज पर कदम रखा, तो गांव में उसके हुस्न कई दिवाने हुए। इन दिवानों में से ममता सिर्फ गांव में रहने वाले मांगीलाल पर जान छिड़कती थी। धीरे-धीरे दोनों के प्यार के चर्चे गांव में होने लगे। यह बात जब उनके माता-पिता को पति चली, तो उन्होंने दोनों का मिलना बंद कर दिया। मगर मांगीलाल व ममता जिस उम्र से गुजर रहे थे, उसमें दोनों किसी भी हद तक जाने के लिए तैयार थे। कुछ ऐसा हुए एक दिन। दोनों ने फैसला किया कि वे भागकर शादी कर लेंगे। इसके बाद क्या था मांगीलाल व ममता ने गांव छोड़ दिया और मंडीदीप में एक किराए के मकान में रहने लगे। इधर, ममता के परिजनों ने मांगीलाल पर अपहरण का मामला दर्ज करा दिया था। सो, पुलिस ने उसे सालभर के अंदर ही मंडीदीप स्थित उसके घर से गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। यह बात ममता को नगावार गुजरी तथा उसने अदालत में बयान दिए कि वह खुद अपनी मर्जी से मांगीलाल के साथ भागी थी। इस पर अदालत ने मांगीलाल को बरी कर दिया। इस दौरान ममता ने एक बच्ची को जन्म भी दिया था। जेल से रिहा होने के बाद मांगीलाल दोबारा ममता के साथ मंडीदीप में बस गया। उनके एक बेटा और एक बेटी थी।
जयप्रकाश बना दूसरा पति
मांगीलाल के घर के पास ही उसका साथी जयप्रकाश रहता था। लंबे समय तक बतौर पड़ोसी रहने के दौरान जयप्रकाश का मांगीलाल के घर आना-जाना था। इस दौरान उसकी आंखे मांगीलाल की खुबसूरत पत्नी ममता से मिल गई। ममता भी कहां पीछे थी, उसने भी जयप्रकाश पर डोरे डालना शुरू कर दिए। दोनों के बीच नजदीकीया बढ़ने लगी और वे मांगीलाल की अनुपस्थिति में एक-दूसरे के साथ बंद कमरे में समय गुजारने लगे। ममता को यह बात पता था कि जयप्रकाश की शादी शुदा है और उसके चार बच्चे भी हैं। इसके बावजूद उसने जयप्रकाश के साथ जिंदगी गुजराने का फैसला लिया। पहले पति मांगीलाल को दिल से निकालने के बाद ममता जनवरी महीने में जयप्रकाश के साथ भोपाल आ गई और निशातपुरा स्थित भानपुर क्षेत्र में एक किराए के मकान में रहने लगी। यह बात मांगीलाल को पता चली, तो वह पत्नी का पीछा करते हुए उसके पास पहुंच गया। वह भी जयप्रकाश की गैर मौजूदगी में ममता के साथ रात गुजारता था।
ममता ने नहीं की शादी
मांगीलाल शादी शुदा था। उसकी गांव में एक पत्नी और तीन बच्चे रहते थे। इसके बावजूद ममता उसके साथ भागकर मंडीदीप आ गई। हालांकि, मांगीलाल की गिरफ्तारी के बाद ममता के परिजन ने उसे बहुत समझाया और उसकी अच्छी जगह शादी करने के लिए भी कहा, लेकिन उसने परिजन की एक नहीं सुनी और अदालत में बयान देकर मांगीलाल को बरी करवा दिया।
दोनों पतियों के साथ सोने का शौक
जयप्रकाश को यह बात पता चली कि मांगीलाल उसका पीछा करते हुए भानपुर स्थित उसके घर पर पहुंच गया है, तो उसने कमरा बदल लिया एवं ममता के साथ पंचवटी कॉलोनी में साहू के घर में किराए के मकान में रहने लगा। मगर, घर से भागा हुआ मांगीलाल भी कहा जाता। सो, वह भी ममता के पीछे-पीछे पंचवटी पहुंच गया। दोनों पतियों के बीच झगड़ा नहीं हो, इसको लेकर ममता एक बिस्तर पर उनके साथ सोने लगी। यह बात खुद ममता ने पुलिस को बताई है। इधर, मांगीलाल व जयप्रकाश को भी इस बात मलाल नहीं थी। तीनों मिलकर शराब पीते और खुब मौज-मस्ती करते।
कई बार ममता को लेकर भागा
मांगीलाल से बचकर कई बार जयप्रकाश ने अपना कमरा बदला। इतना ही नहीं वह कुछ दिनों तक पीथमपुर में जाकर भी रहा। इधर ममता भी दो मुंह वाली छूरी थी। वह लगातार मोबाइल फोन पर मांगीलाल के संपर्क में रहती थी और उसे खुद फोन कर बुलाती थी। एक बार तो ममता ने ही जयप्रकाश को छोड़ दिया तथा मांगीलाल के साथ रहने लगी थी। ममता की इच्छा को मांगीलाल और जयप्रकाश बखुबी समझ चुके थे। इसके चलते ही दोनों कथित पति ममता के साथ पिछले तीन महीने से एक साथ रह रहे थे।
हत्या का कोई अफसोस नहीं
घटना के दूसरे दिन निशातपुरा पुलिस ने आरोपी जयप्रकाश को जाटखेड़ी स्थित उसके परिचत के घर से गिरफ्तार कर लिया था। दूसरे पति की गिरफ्तारी पर ममता ने भी थाने में सरेंडर कर दिया था। पूछताछ में ममता ने आनाकानी नहीं की और हस्ते हुए पुलिस को घटनाक्रम के बारे में बारी-बारी से बता दिया। उसे पहले पति मांगीलाल के हत्या का कोई अफसोस नहीं था।

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